स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण तथा चिकित्सा शिक्षा मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने सोमवार को पंडित जवाहर लाल नेहरू स्मृति चिकित्सा महाविद्यालय, रायपुर से संबद्ध डॉ. भीमराव अम्बेडकर स्मृति चिकित्सालय का औचक निरीक्षण किया।
उन्होंने अम्बेडकर अस्पताल के मेडिसिन वार्ड तथा गहन चिकित्सा इकाई (इंटेंसिव केयर यूनिट) का निरीक्षण कर उपचार व्यवस्थाओं का जायजा लिया।
मंत्री जायसवाल ने मेडिसिन वार्ड में भर्ती एवं उपचाररत मरीजों के स्वास्थ्य के संबंध में उनके परिजनों से बातचीत कर उपचार व्यवस्था के संबंध में चर्चा की। स्वास्थ्य मंत्री से चर्चा के दौरान मेडिसिन वार्ड में भर्ती मरीज के परिजनों ने बताया कि उनका उपचार अस्पताल में बेहतर ढंग से हो रहा है।
इसके बाद स्वास्थ्य मंत्री ने अम्बेडकर अस्पताल के गहन चिकित्सा इकाई का निरीक्षण करते हुए वहां भर्ती गंभीर मरीजों के उपचार की जानकारी लेते हुए उन्हें बेहतर से बेहतर उपचार प्रदान करने के लिए यथासंभव हर प्रयत्न करने के निर्देश ड्यूटीरत चिकित्सकों को दिए।
क्रिटिकल केयर यूनिट में विगत 28 दिसम्बर से भर्ती एवं गंभीर दुर्घटना के शिकार मरीज के परिजन ने स्वास्थ्य मंत्री को जानकारी दी कि मरीज जिस स्थिति में यहां आया था उसके बाद अब उसमें काफी सुधार हुआ है जिससे वे अस्पताल की उपचार व्यवस्था को लेकर संतुष्ट हैं।
इसके साथ ही स्वास्थ्य मंत्री ने डायलिसिस यूनिट का अवलोकन करते हुए कहा कि आवश्यकता पड़ने पर डायलिसिस मशीनों की संख्या बढ़ाई जाएगी।
वार्डों के निरीक्षण के उपरांत वरिष्ठ चिकित्सा अधिकारियों तथा विभागाध्यक्षों की बैठक लेते हुए चिकित्सा शिक्षा मंत्री ने कहा कि इस विभाग का मंत्री बनने के बाद अम्बेडकर अस्पताल का यह दूसरी बार निरीक्षण है। प्रथम बार के औचक निरीक्षण के पश्चात् व्यवस्था में काफी बदलाव हुए हैं जो संतोषप्रद है।
प्रदेश के सबसे बड़े अस्पताल की बेहतरी की दिशा में प्रयास जारी रहेगा। उन्होंने चिकित्सा महाविद्यालय की अधिष्ठाता डॉ. तृप्ति नागरिया एवं अम्बेडकर अस्पताल अधीक्षक डॉ. एस. बी. एस. नेताम को निर्देश देते हुए कहा कि गर्मी के आने के पूर्व ही वाटर कूलर, पंखे एवं कूलरों की व्यवस्था वार्डों एवं ओपीडी में पर्याप्त संख्या में होनी चाहिए ताकि मरीजों को परेशानी न हो।
उन्होंने चिकित्सालय में संचालित लिफ्ट की व्यवस्था को और भी बेहतर तथा सुगम बनाने के निर्देश दिए।
मंत्री जायसवाल ने बैठक में कहा कि अस्पताल में उपचार के लिए आने वाले मरीजों की बढ़ती संख्या को देखते हुए आवश्यक मेडिकल उपकरण, ओटी काम्प्लेक्स के उन्नयन एवं रेडियोलॉजी के जांच की मशीन के संबंध में अस्पताल एवं चिकित्सा महाविद्यालय स्तर पर मांग पत्र पुनः भेजें जाएं ताकि भविष्य में मरीजों को ऑपरेशन, पैथोलॉजी बायोकेमिस्ट्री व माइक्रोबायोलॉजी से संबंधित सभी जांच एवं रेडियोलॉजी जांच के लिए इंतज़ार न करना पड़े। उन्होंने अस्पताल की सुरक्षा के मद्देनज़र पर्याप्त संख्या में सीसीटीवी कैमरे लगाने के निर्देश दिए।
चिकित्सा शिक्षा मंत्री द्वारा अस्पताल के निरीक्षण एवं बैठक के दौरान विभागाध्यक्ष नेत्र रोग विभाग डॉ. निधि पांडे, सर्जरी विभागाध्यक्ष डॉ. मंजू सिंह, अस्थि रोग विभागाध्यक्ष डॉ. विनित जैन, विभागाध्यक्ष एनेस्थीसिया डॉ. प्रतिभा जैन शाह, विभागाध्यक्ष बायोकेमिस्ट्री डॉ. पी. के. खोडियार, ब्लड बैंक प्रभारी डॉ. वी. कापसे, मेडिसिन विभाग के डॉ. योगेन्द्र मल्होत्रा, सर्जरी विभाग के डॉ. संतोष सोनकर समेत प्रशासनिक अधिकारी श्रीमती रंजना ध्रुव उपस्थित रहीं।